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शास्त्रों की माने तो स्त्री हो या पुरुष, ये 7 बातें हमेशा रखनी चाहिए गुप्त

वैसे तो हर व्यक्ति अपनी बुद्धी क्षमता और विवेक से जिंदगी के फैसले लेता है, पर कई बार ऐसी परिस्थतियां आ जाती हैं जब इंसान का विवेक भी काम नहीं करता है, ऐसे में शास्त्रों का गूढ़ ज्ञान मनुष्य के काम आता है। दरअसल शास्त्र, मानव जीवन के हर पक्ष और हर परिस्थिति में उचित मार्गदर्शन करते हैं। साथ ही मनुष्य को जीवन जीने का वो मार्ग बताता है जिससे अनावश्यक परेशानियों से बचा जा सके । ऐसे में शास्त्रों में कुछ ऐसी गोपनीय बातों के बारे में बताया गया है जिन्हें हमेशा दूसरों से छिपाकर ही रखना चाहिए। शास्त्रों की मान तो ऐसी बातों को छिपाकर रखने में ही मनुष्य की भलाई होती है क्योंकि ये बातें दूसरों को बताने से भविष्य में कई सारी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। शास्त्रों में ऐसी 7 नितांत गुप्त बातों का उल्लेख मिलता है, जो कि इस तरह है..

हर परिवार के सदस्यों में कुछ आपसी वाद-विवाद होते रहते हैं जो कि आम बात है, पर आपसी विवाद और झगड़े का उजागर घर के बाहर किसी दूसरे से नहीं करना चाहिए। क्योंकि इससे जहां समाज में आपके परिवार का सम्मान कम होता है, वहीं आपसी विवाद के बारे में जानकर दूसरे लोग इस झगड़े से गलत लाभ उठा सकते हैं। ऐसे में शास्त्रों की माने तो परिवार का आपसी वाद-विवाद गोपनीय विषय है और इसकी चर्चा दूसरे लोगों से नहीं करनी चाहिए।

वहीं शास्त्रों के अनुसार अपने गुरु द्वारा मिले हुए मंत्र को सदैव गुप्त रखना चाहिए। क्योंकि शास्त्रों की माने तो ये गुरु मंत्र, तभी सिद्ध होते हैं, जब इन्हें गुप्त रखा जाता है। साथ ही इन मंत्रों को गुप्त रखने से इनके शुभ फल जल्दी ही प्राप्त होते हैं।

वहीं अपने दान कर्म भी दूसरों को नहीं बताने चाहिएए, क्योंकि दूसरों को बताकर दान करने पर उसका पुण्य नहीं मिल पाता है। वहीं शास्त्रों में गुप्त दान का भी विशेष महत्व बताया गया है। मान्यता है गुप्तदान से अक्षय पुण्य के साथ ही देवी-देवताओं की कृपा भी प्राप्त होती है, जिससे मनुष्य को सभी तरह के सुख का लाभ मिलता है ।

शास्त्रों के अनुसार स्वय के अपमान को भी गुप्त रखना ही हितकारी होता है, क्योंकि इसके उजागर होने से जहां आपकी जग हंसाई होती हैं, वहीं दूसरे लोग आपकी कमजोरी का अनुचित लाभ ले सकते हैं।

वहीं शास्त्रों में धन हानि को भी गोपनीय रखने की सलाह  गई हैं, क्योंकि अकसर समाज में धन को व्यक्ति की शक्ति का पैमाना माना जाता है और इसी आधार पर रिश्ते भी निभाए जाते हैं । ऐसे में अगर आपको धन हानि का सामना करना भी पड़े तो इस दूसरों से गुप्त रखना चाहिए, क्योंकि जैसे ही धन हानि की बात दूसरों को पता चलेगी, वे आपसे दूरियां बढ़ा लेंगे। वहीं धन हानि से उबरने के लिए भी धन की आवश्यकता होती है, जबकि आपके दरीद्रता के बारे में पता चलने पर कोई आपकी आर्थिक मदद भी नहीं करेगा। वहीं अगर आपके पास असीमित धन भी है तो इसे भी गुप्त ही रखना चाहिए।

अगर आप किसी बड़े पद पर हैं तो बेवजह आप अपनी शान और वैभव का प्रदर्शन न करें, क्योंकि एक तरफ जहां इससे अहंकार का भाव पैदा होता है और अहंकार आपकी पतन का कारण बन सकता है, वहीं इससे आपके आत्मीय रिश्तों में दूरी आती है।

शास्त्रों की माने तो रतिक्रिया नितांत गोपनीय कर्म है, ऐसे में स्त्री-पुरुष दोनो को इसके लिए एकांत जगह और समय विशेष का ध्यान रखना चाहिए। साथ ही इससे जुड़ी बातें भी हमेशा गुप्त रखनी चाहिए। ये बातें दूसरों को बताने योग्य नहीं होती हैं, क्योंकि इससे नैतिक हानि मिलती है जो कि बेहतर जीवन के लिए उचित नहीं है।

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